logo_banner
Breaking
  • ⁕ महानगर पालिका चुनाव का बजा बिगुल; 15 जनवरी को मतदान और 16 जनवरी को होगी मतगणना, राज्य चुनाव आयोग की घोषणा ⁕
  • ⁕ Kanhan: कन्हान नदी में महिला का शव मिलने से क्षेत्र में सनसनी, पहचान की कोशिश जारी ⁕
  • ⁕ चंद्रपुर में आयुक्त के गुस्से का नगर पालिका के कर्मचारियों को करना पड़ा सामना, कार्यालय का मेन गेट किया बंद ⁕
  • ⁕ MGNREGA की जगह मोदी सरकार ला रही नया रोजगार कानून "विकसित भारत-जी राम जी", लोकसभा में पेश होगा बिल ⁕
  • ⁕ Amravati: अमरावती जिले में आवारा कुत्तों ने 11 महीनों में 22 हजार से अधिक नागरिकों को काटा ⁕
  • ⁕ गोंदिया में लोधी समाज का विराट सम्मेलन, चर्चा में विधायक टी राजा सिंह के तीखे बयान ⁕
  • ⁕ Nagpur: मनसर कांद्री क्षेत्र में अज्ञात ट्रक ने तेंदुए को मारी जोरदार टक्कर, तेंदुआ गंभीर रूप से घायल ⁕
  • ⁕ उपमुख्यमंत्री अजित पवार के बयान से राज्य के शिक्षा क्षेत्र में गुस्सा, घमंडी भाषा इस्तेमाल करने का आरोप ⁕
  • ⁕ Nagpur: यशोधरा नगर में अपराधी ने पड़ोसी पर किया जानलेवा हमला, मामूली बात को लेकर हुआ था विवाद ⁕
  • ⁕ Yavatmal: आर्णी में बड़े पैमाने पर सागौन के पेड़ों की कटाई, खतरे में जंगली जानवर और जंगल की सुरक्षा ⁕
Yavatmal

Yavatmal: गिरे सोयाबीन के दाम, वर्तमान कीमत 4 हजार 900 रुपए, किसानों की चिंता बढ़ी


यवतमाल: पिछले हफ्ते लगातार दो दिनों तक हुई बेमौसम बारिश से फसल को भारी नुकसान हुआ है. बेमौसम बारिश का असर सोयाबीन की कीमत पर पड़ा है. दाम 200 से 300 रुपये तक गिर गए हैं और इसका खामियाजा किसानों को भुगतना पड़ रहा है. फिलहाल सोयाबीन की कीमत 4 हजार 600 से 4 हजार 900 रुपए तक है.

इस वर्ष जिले में औसत से अधिक बारिश हुई है. शुरुआत में देर से आने वाली बारिश जुलाई और अगस्त के महीने में शुरू हुई। भारी बारिश के कारण सौ से ज्यादा राजस्व हलकों में भारी बारिश दर्ज की गई.

साढ़े तीन हेक्टेयर कपास और सोयाबीन की फसल प्रभावित हुई। किसानों ने इससे उबरकर फसल को बनाए रखा, लेकिन सोयाबीन पर पीले मोदियाक और अन्य बीमारियों के कारण पैदावार पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ा।

इस बीच किसानों को उम्मीद थी कि बचे हुए सोयाबीन से खेती की लागत निकल जाएगी. लेकिन, पिछले सप्ताह रविवार व सोमवार को हुई बेमौसम बारिश से किसानों के सपनों पर पानी फिर गया. मौसम विभाग की बेमौसम बारिश की भविष्यवाणी सच साबित हुई.

अंतत: बाजार समितियों को बंद करने की बारी आयी. किसानों ने बाजार समिति से कृषि उपज बिक्री के लिए न लाने की भी अपील की। उस समय सोयाबीन के दाम 5 हजार से लेकर 5 हजार तीन सौ रुपए तक मिल रहे थे।

हालांकि, बारिश के बाद सोयाबीन की कीमत अचानक गिर गई। अब सोयाबीन की गुणवत्ता के आधार पर दाम वसूले जा रहे हैं। इसमें मुख्य रूप से 4 हजार 600 से 4 हजार 900 रुपये तक चार्ज किया जाता है.

इस प्रकार से किसानों को 200 से 300 रुपये तक की आर्थिक क्षति उठानी पड़ती है. अब अगर माहौल में बदलाव नहीं हुआ तो किसानों में निराशा होने की आशंका है.