Akola: वंचित बहुजन युवा अघाड़ी का विरोध प्रदर्शन, ऑनलाइन प्रतियोगी परीक्षा प्रक्रिया में अभ्यर्थियों से जबरन वसूली का लगाया आरोप

अकोला: ऑनलाइन प्रतियोगी परीक्षा के लिए पिछड़े वर्ग, आर्थिक रूप से कमजोर और अनाथ बच्चों का आर्थिक शोषण करने का आरोप लगाते हुए वंचित बहुजन युवा अघाड़ी ने बुधवार को कलेक्टर कार्यालय के सामने धरना दिया। कलेक्टर कार्यालय के सामने आयोजित विरोध प्रदर्शन में बड़ी संख्या में युवा शामिल हुए। इसके बाद जिला कलेक्टर को एक ज्ञापन सौंपा गया।
राज्य में तकनीकी संवर्ग के विभिन्न पदों के लिए ऑनलाइन प्रतियोगी परीक्षा आयोजित होने वाली है। विभिन्न तकनीकी एवं गैर-तकनीकी संवर्गों की रिक्तियों को भरने के लिए प्रतियोगी परीक्षा हेतु विज्ञापन प्रकाशित किया गया है।
इसी पर युवा अघाड़ी का कहना है कि इस विज्ञापन में पिछड़े वर्ग, आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग और अनाथ बच्चों की फीस और जाति सत्यापन के मामले में गलत नियम बनाए गए हैं। यह भी निर्णय लिया गया है कि ऑनलाइन प्रतियोगी परीक्षा प्रक्रिया में अभ्यर्थियों की भर्ती प्रक्रिया निलंबित या रद्द होने की स्थिति में अभ्यर्थियों को भर्ती शुल्क वापस नहीं किया जाएगा। इसलिए युवा अघाड़ी ने चेतावनी दी है कि दमनकारी शर्तों के साथ शुरू की गई भर्ती प्रक्रिया को तुरंत रद्द किया जाए और नई सीटें भरी जाएं, अन्यथा संवैधानिक प्रावधानों को रौंदकर भर्ती प्रक्रिया शुरू करने के लिए पुलिस में शिकायत दर्ज की जाएगी।
विरोध प्रदर्शन में युवा आघाड़ी महासचिव राजेंद्र पटोदे, अरुंधति सिरसत, बालमुकुंद भिराड, जिला अध्यक्ष श्रीकांत घोगरे, युवा जिला महासचिव राजकुमार दामोदर, जिला अध्यक्ष प्रमोद देंडवे, महासचिव मिलिंद इंगले समेत बड़ी संख्या में युवक-युवतियां मौजूद थे। जिला परिषद अध्यक्ष संगीताई आढावू, उपाध्यक्ष सुनील फटकर यहाँ उपस्थित थे।

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