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B-2 Spirit: अमेरिका का रडार से अदृश्य स्टेल्थ बॉम्बर, जानिए इसकी ताकत और तकनीक


वॉशिंगटन: B-2 Spirit, जिसे दुनिया का सबसे महंगा और सबसे रहस्यमय बमवर्षक विमान माना जाता है, अमेरिकी वायुसेना का एक ऐसा हथियार है जो तकनीक और रणनीति दोनों में अपनी मिसाल आप है। यह विमान न केवल परमाणु बम गिराने की क्षमता रखता है, बल्कि इसे रडार पर भी पकड़ पाना लगभग नामुमकिन है। हाल ही में अमरीका ने ईरान के तीन परमाणु संयंत्रों पर इसी विमान से बम बरसाए हैं, इसके बाद फिर से यह विमान चर्चा में आ गया है। आइए जानते हैं आख़िर दुनिया में यह विमान क्यों बमबारी का बादशाह बना हुआ है।

क्या है B-2 Spirit?

B-2 Spirit, जिसे आम तौर पर स्टेल्थ बॉम्बर कहा जाता है, अमेरिका की Northrop Grumman कंपनी द्वारा विकसित किया गया एक फ्लाइंग विंग डिज़ाइन वाला बमवर्षक है। इसे वर्ष 1997 में अमेरिकी वायुसेना में शामिल किया गया था। इसका प्राथमिक उद्देश्य है – लंबी दूरी से सटीक बमबारी, वो भी बिना दुश्मन को भनक लगे।

रडार से अदृश्य कैसे?

  • इस बॉम्बर की सबसे बड़ी ताकत इसकी स्टेल्थ तकनीक है।
  • इसका आकार ऐसा डिज़ाइन किया गया है जो रडार सिग्नल को पीछे मोड़ देता है।
  • शरीर पर विशेष मैटेरियल का उपयोग किया गया है जो रडार वेव को सोख लेता है।
  • इंजन को इस तरह ढका गया है कि उसकी गर्मी भी रडार या इंफ्रारेड सेंसर से न पकड़ी जाए।
  • नतीजा: B-2 रडार पर नजर नहीं आता और सीधे दुश्मन के केंद्र में हमला कर सकता है।

हथियार क्षमता:

B-2 बॉम्बर में दो बम डिब्बे होते हैं जिनमें यह विभिन्न प्रकार के हथियार लेकर उड़ सकता है:

  • 16 परमाणु बम (जैसे B61 या B83)
  • 80 GPS-गाइडेड JDAM बम (500 पाउंड तक)
  • मिश्रित हथियारों का संयोजन

यह पूरी तरह से साइलेंट ऑपरेशन के लिए डिजाइन किया गया है, जिससे यह दुश्मन के रक्षा कवच को भेदते हुए बिना आवाज़ के हमला कर सकता है।

 तकनीकी जानकारी:

विशेषता: 

  • निर्माता Northrop Grumman
  • सेवा में प्रवेश 1997
  • गति 1,010 किमी/घंटा (Mach 0.95)
  • सीमा 11,000 किमी (बिना रिफ्यूलिंग)
  • ऊंचाई 50,000 फीट तक
  • पेलोड 18,000 किलोग्राम
  • क्रू 2 पायलट

युद्ध में भूमिका:

B-2 बॉम्बर को अब तक कई बड़े ऑपरेशनों में इस्तेमाल किया जा चुका है:

  • कोसोवो युद्ध (1999): पहली बार युद्ध में तैनाती
  • अफगानिस्तान (2001): तालिबान ठिकानों पर सटीक हमले
  • इराक (2003): बगदाद में सामरिक ठिकानों पर हमले

हर बार, इसने मिशन को बिना किसी नुकसान के सफलतापूर्वक अंजाम दिया।

लागत और संख्या:

एक B-2 बॉम्बर की कीमत लगभग $2.1 बिलियन डॉलर (करीब 17,500 करोड़ रुपये) है। यह दुनिया का सबसे महंगा फाइटिंग एयरक्राफ्ट है।अब तक केवल 21 B-2 बॉम्बर बनाए गए हैं, जिनमें से कुछ दुर्घटनाओं में नष्ट भी हो चुके हैं।

भविष्य की दिशा: B-21 Raider

B-2 की जगह अब अमेरिका B-21 Raider नामक अगली पीढ़ी का स्टेल्थ बॉम्बर विकसित कर रहा है, जो और भी ज्यादा स्टेल्थ और AI-इंटीग्रेटेड होगा। हालांकि B-2 अभी भी अमेरिकी वायुसेना की रणनीतिक स्ट्राइक फोर्स का सबसे महत्वपूर्ण हिस्सा है।