चंद्रपुर के मूल में स्थापित होगा नया पॉलिटेक्निक कॉलेज, राज्य कैबिनेट ने एलआईटी के वित्तीय अनुदान प्रदान के प्रस्ताव को दी मंजूरी
                            नागपुर/मुंबई: राज्य कैबिनेट ने आज मंगलवार को बड़ा निर्णय लेते हुए नागपुर स्तिथ लक्ष्मी नारायण इंसीट्यट ऑफ़ टेक्नोलॉजी को आगामी पाँच वित्तीय वर्षों के लिए महत्वपूर्ण वित्तीय अनुदान प्रदान करने की औपचारिक मंजूरी दे दी है। सरकार ने यह अनुदान संस्थान के अवसंरचनात्मक और शैक्षणिक विकास को गति प्रदान करने के उद्देश्य से 2025-2026 से 2029-2030 की अवधि के लिए स्वीकृत किया गया है, जिसके तहत प्रति वर्ष 7 करोड़ रूपये की निधि चार किस्तों में वितरित की जाएगी। इसी के साथ कैबिनेट ने चंद्रपुर के मूल में पॉलिटेक्निक कॉलेज स्थापित करने के प्रस्ताव को भी अपनी मंजूरी दी। 
देखें कैबिनेट के निर्णय:
                                            देखें कैबिनेट के निर्णय:
- (लोक निर्माण विभाग): विरार से अलीबाग बहुउद्देशीय मोटरमार्ग (VAMMC) परियोजना के लिए ऋण हेतु सरकारी गारंटी स्वीकृत। महाराष्ट्र राज्य सड़क विकास निगम हुडको से प्राप्त इस ऋण का उपयोग भूमि अधिग्रहण व्यय के लिए करेगा।
 
- (उच्च एवं तकनीकी शिक्षा विभाग): लक्ष्मी नारायण नवीन प्रौद्योगिकी (LIT) विश्वविद्यालय, नागपुर को धनराशि प्रदान करने की स्वीकृति। 2025-2026 से 2029-2030 की अवधि के लिए प्रति वर्ष चार किश्तों में 7 करोड़ रुपये की धनराशि वितरित की जाएगी। यह संस्थान 1942 में स्थापित हुआ था और रासायनिक प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में एक प्रतिष्ठित संस्थान है।
 
- (राजस्व विभाग): सोलापुर जिले के मौजे कुंभारी (तहसील दक्षिण सोलापुर) में असंगठित श्रमिकों के लिए प्रधानमंत्री आवास योजना के अंतर्गत निर्मित किए जाने वाले 30,000 आवासों की आवास परियोजना के लिए अनर्जित आय, दान और गैर-कृषि कर से छूट प्रदान करने की स्वीकृति।
 
- (राजस्व विभाग): वाशिम जिले के वैगोल (ताल मनोरा) में ग्राम पंचायत वैगोल को श्रद्धालुओं और तीर्थयात्रियों के लिए सुविधाओं के निर्माण हेतु 1.52 हेक्टेयर भूमि निःशुल्क प्रदान करने की स्वीकृति।
 
- (विधि एवं न्याय विभाग): पुणे जिले के घोड़नाडी (शिरुर) में एक जिला एवं अतिरिक्त सत्र न्यायालय, एक वरिष्ठ स्तर का सिविल न्यायालय तथा एक सरकारी अभियोजक कार्यालय स्थापित किया जाएगा। इसके लिए आवश्यक पदों के सृजन को स्वीकृति।
 
- (विधि एवं न्याय विभाग): छत्रपति संभाजीनगर जिले के पैठण में एक वरिष्ठ स्तर का सिविल न्यायाधीश स्थापित किया जाएगा। इसके लिए न्यायिक अधिकारियों एवं कर्मचारियों के आवश्यक पदों के सृजन को स्वीकृति।
 
- (वित्त विभाग): राज्य संपत्ति पुनर्निर्माण कंपनी "महा आर्क लिमिटेड" को बंद करने की स्वीकृति। केंद्र की राष्ट्रीय संपत्ति पुनर्निर्माण कंपनी की स्थापना की गई थी, और इसी तर्ज पर सितंबर 2022 में राज्य कंपनी की स्थापना की गई थी। भारतीय रिज़र्व बैंक ने 2023 में इस कंपनी को लाइसेंस देने से इनकार कर दिया और चूँकि इस कंपनी का संचालन कानूनी रूप से संभव नहीं था, इसलिए कंपनी को बंद करने का निर्णय लिया गया।
 
- (ग्रामीण विकास विभाग): ग्राम पंचायत कर्मचारियों के वेतन भुगतान हेतु कर वसूली शर्तों में संशोधन। कर्मचारियों को राहत।
 
- (मत्स्य विभाग): चूँकि मत्स्य पालन को कृषि के समकक्ष दर्जा दिया गया है, अतः मछुआरों, मत्स्य पालकों और मत्स्य पालकों को बैंकों द्वारा दिए जाने वाले अल्पकालिक कार्यशील पूंजी ऋण पर 4 प्रतिशत ब्याज वापसी को मंजूरी दी गई है।
 
- (अल्पसंख्यक विकास विभाग): हिंद की चादर" श्री गुरुतेग बहादुर साहिब जी के 350वें शहीद समागम शताब्दी कार्यक्रम हेतु आवश्यक धनराशि को मंजूरी। नांदेड़, नागपुर और रायगढ़ जिलों के अंतर्गत राज्य भर में विभिन्न स्थानों पर आयोजित होने वाले कार्यक्रमों के आयोजन हेतु 94 करोड़ 35 लाख 64 हजार रुपये की धनराशि के प्रावधान को मंजूरी।
 
- (सामान्य प्रशासन विभाग): प्रस्तावित "महाराष्ट्र जन विश्वास अध्यादेश, 2025" के प्रावधानों में संशोधन को मंजूरी।
 
- (राजस्व विभाग): मुंबई उपनगरीय जिले के बांद्रा (तालिबान अंधेरी) में एक रुपये के नाममात्र वार्षिक पट्टे पर 30 वर्ष की अवधि के लिए प्रदान की गई 395 वर्ग मीटर सरकारी भूमि के सामने 648 वर्ग मीटर भूमि पर अन्य आवश्यक सुविधाएँ प्रदान करने को मंजूरी।
 
- (राजस्व विभाग): गैर-कृषि कर लगाने के साथ-साथ भूमि के गैर-कृषि उपयोग हेतु अनुमति और चार्टर संबंधी प्रावधानों में संशोधन को मंजूरी। इसके लिए, महाराष्ट्र भूमि राजस्व संहिता, 1966 में संशोधन किए जाएँगे।
 
- (लोक स्वास्थ्य विभाग): विस्तारित महात्मा ज्योतिराव फुले जन आरोग्य योजना और आयुष्मान भारत-प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना के अंतर्गत आयुष्मान कार्ड बनाने और वितरित करने वाले क्षेत्र-स्तरीय कर्मचारियों (फ्रंट लाइन वर्कर्स) के मानदेय में वृद्धि को मंजूरी।
 
- (लोक स्वास्थ्य विभाग): राज्य के नागरिकों को स्वास्थ्य सुविधाएँ और बेहतर उपचार उपलब्ध कराने हेतु महात्मा ज्योतिराव फुले जन आरोग्य योजना और आयुष्मान भारत-प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना के अंतर्गत उपचार सूची में संशोधन को मंजूरी।
 
- (लोक स्वास्थ्य विभाग): राज्य में लोक स्वास्थ्य विभाग के अंतर्गत एक शहरी स्वास्थ्य आयुक्तालय की स्थापना की जाएगी। स्वास्थ्य सुविधाओं के विकेंद्रीकरण से नागरिकों को राहत मिलेगी।
 
- (योजना विभाग): परशुराम आर्थिक विकास निगम, वीर शिरोमणि महाराणा प्रताप आर्थिक विकास निगम और श्री वासवी कन्याका आर्थिक विकास निगम की योजनाओं को मंजूरी।
 
- (चिकित्सा शिक्षा एवं औषधि विभाग): पुण्यश्लोक अहिल्यादेवी होल्कर शासकीय चिकित्सा महाविद्यालय, बारामती के लिए एसोसिएट प्रोफेसरों के पाँच पदों के सृजन को मंजूरी। इसके लिए आवश्यक व्यय प्रदान करने को मंजूरी।
 
- (नगरीय विकास विभाग): वर्धा शहर के रामनगर में पट्टाधारक को आवासीय भूखंड का स्थायी स्वामित्व प्रदान करने को मंजूरी
 
- (लोक स्वास्थ्य विभाग): राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के अंतर्गत कार्यरत संविदा कर्मचारियों को नियमित पदों पर समायोजित करने के निर्णय में संशोधन को मंजूरी। 14 मार्च 2024 को मिशन में दस वर्ष की सेवा पूर्ण कर चुके संविदा कर्मचारियों के समकक्ष पदों का समायोजन। सेवा प्रवेश नियमों में संशोधन किए बिना यह समायोजन एकमुश्त किया जाएगा। लोक स्वास्थ्य विभाग के पदों के साथ-साथ ग्रामीण विकास विभाग द्वारा भरे जाने वाले स्वास्थ्य सेवाओं के रिक्त पदों के संबंध में निर्णय।
 
- (उच्च एवं तकनीकी शिक्षा विभाग): चंद्रपुर जिले के मूल में 300 प्रवेश क्षमता वाला एक नया डिप्लोमा इंजीनियरिंग शासकीय तकनीकी महाविद्यालय प्रारंभ किया जाएगा। इसके लिए आवश्यक 39 शैक्षणिक और 42 गैर-शैक्षणिक पदों को मंजूरी और व्यय का प्रावधान।
 
                
        
    
            
                                
                                
                                
                                
                                
                                
                                
                                
                                
                                
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