बुलढाणा के चार गांव जो एमपी में विलय चाहते थे उसका नया एंगल आया सामने,मामला सामने आने के बाद ग्रामीणों की खुली क़िस्मत
बुलढाणा: बुलढाणा जिले के चार गांव के नागरिकों ने महाराष्ट्र सरकार पर मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध नहीं कराये जाने का आरोप लगाते हुए धमकी दी थी.इन ग्रामीणों ने पडोसी मध्यप्रदेश में विलय कराये जाने की मांग की थी.हालाँकि इस मामले की गूंज होने के बाद इससे जुड़ा दूसरा ही एंगल सामने आया.ग्रामीणों के मुताबिक उन्होंने उपविभागीय अधिकारी को सिर्फ गांव में विकास काम किये जाने संबंधी निवेदन दिया था लेकिन एक पत्रकार ने उन्हें कैमरे के सामने ऐसा कहने के लिए मजबूर किया की वो सभी मध्यप्रदेश में शामिल होने की मांग कर रहे है.बहरहाल इस मामले के सामने आने के बाद इन चार गांवो की किस्मत खुल गयी है.यहाँ पूर्व मंत्री संजय कुटे ने खुद पहुँचकर सड़क निर्माण के कामकाज की शुरुवात की.
बुलढाणा जिले के जलगाव जामोद तहसील के चार गांव भिंगारा,गोमल-1,गोमल-2 और चालिस्तारपी गांव के निवासियों ने बीते सप्ताह जिला प्रशासन को निवेदन लिखकर उनके गांवो का विलय मध्यप्रदेश में कराये जाने की मांग की थी.इन ग्रामीणों के मुताबिक आजादी के 75 साल बाद भी उनके गांव में विकास काम नहीं पहुंचे है.यह सारे गांव मध्यप्रदेश से सटे हुए है.ग्रामीणों का कहना है की मध्यप्रदेश के गांवो से स्थिति उनके गांवों से ज्यादा बेहतर है.
admin
News Admin