सुनीता जामगड़े को नागपुर पुलिस ने किया गिरफ्तार; रात 2.30 बजे हुई सुनवाई, अदालत के निर्देश पर सुबह चार बजे करवाई

नागपुर: पुलिस द्वारा अवैध रूप से पाकिस्तान गई महिला सुनीता जामगड़े (Sunita Jamgade) की गिरफ्तारी के लिए दायर याचिका पर नागपुर की एक अदालत में सुबह 2:30 बजे सुनवाई हुई। मजिस्ट्रेट कोर्ट के जज ने दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के बाद पुलिस को महिला को तुरंत गिरफ्तार करने का आदेश दिया। इसके बाद नागपुर पुलिस ने महिला को गिरफ्तार कर लिया, यह जानकारी जोन 4 के पुलिस उपायुक्त निकेतन कदम ने दी।
ज्ञात हो कि, सुनीता अपने 14 वर्षीय बेटे के साथ छुट्टियां मनाने लद्दाख गई थीं। इसी दौरान वह अचानक गायब हो गई। उसने अपना बच्चा होटल में छोड़ दिया था। जांच के दौरान पता चला कि सुनीता दो पाकिस्तानी नागरिकों से बात कर रही थी। उनमें से एक पादरी था और दूसरा जुल्फिकार नाम का युवक था। जाँच में पता चला की सुनीता पाकिस्तानी पादरी से मिलने अवैध तरीके से पाकिस्तान गई।
महिला जम्मू-कश्मीर के कारगिल के पास हुंदरमन गांव के इलाके से नियंत्रण रेखा (एलओसी) पार कर पाकिस्तान में प्रवेश कर गई थी। 43 वर्षीय महिला के नियंत्रण रेखा पार कर पाकिस्तान में एक ईसाई पादरी से मिलने जाने की जानकारी सामने आने के बाद हड़कंप मच गया। उसे हिरासत में लेने के बाद पाकिस्तानी रेंजर्स ने पूछताछ की और बीएसएफ को सौंप दिया।
आधी रात को हुई सुनवाई
महिला को लेने नागपुर पुलिस की एक टीम अमृतसर पहुंची, जहां उसे आधी रात को नागपुर लाया गया और उसे सीधे जज के आवास पर पेश किया गया। भारतीय कानून के अनुसार सूर्यास्त के बाद किसी भी महिला को गिरफ्तार नहीं किया जा सकता। हालांकि मामले की गंभीरता को देखते हुए आधी रात करीब 2.30 बजे जज के आवास पर मामले की विशेष सुनवाई की गई। मामले की गंभीरता को देखते हुए न्यायाधीश ने नागपुर पुलिस को महिला को गिरफ्तार करने का आदेश दिया, इसके पश्च्यात सुबह चार बजे सुनीता जामगड़े को गिरफ्तार कर लिया गया।
बेटे को कारगिल छोड़ गई थी पाकिस्तान
वह पिछले कुछ समय से पाकिस्तान में एक ईसाई पादरी से फोन पर बातचीत कर रही थी। पाकिस्तान जाने से पहले उसने अपने 12 वर्षीय बेटे को कारगिल के एक होटल में छोड़ दिया था। फिलहाल, लड़का कारगिल बाल कल्याण समिति (सीईसी) की हिरासत में है। पुलिस बातचीत के बाद तीन-चार दिन में लड़के को उसके परिवार को सौंप देगी।

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