नलगंगा-वैनगंगा प्रोजेक्ट को राज्यपाल ने दी मंजूरी, उपमुख्यमंत्री फडणवीस ने फाइल पर जल्द हस्ताक्षर करने की थी मांग

नागपुर: विदर्भ सहीत मराठवाड़ा में सिंचाई के लिए वारदान साबित होने वाली परियोजना वैनगंगा और नल गंगा प्रोजेक्ट को राज्यपाल रमेश बैस ने अपनी मंजूरी दे दी है। इस बात की जानकारी राज्य के उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने गुरुवार को ट्वीट कर दी। इसी मंजूरी के साथ प्रोजेक्ट के शुरु होने का रास्ता साफ हो गया है।
ज्ञात हो कि, विदर्भ सहीत मराठवाड़ा में पानी की आपूर्ति और सिंचाई बेहद ज्वलंत समस्या है। इस समस्या को दूर करने के लिए राज्य सरकार ने वैनगंगा और नालगंगा नदी को जोड़ने का निर्णय लिया है। इसको लेकर राज्य बजट में घोषणा भी की गई। 80 हज़ार करोड़ की लागत वाली इस परियोजना की मान्यता के लिए राज्यपाल रमेश बैस के पास फाइल पहुंची थी, जिसे जल्द मंजूरी देने की मांग फडणवीस ने की थी। जहां आज राज्यपाल ने फाइल पर हस्ताक्षर करते हुए अपनी मंजूरी दे दी।
फडणवीस ने लिखा, "वैनगंगा-नलगंगा नदी जोड़ो परियोजना को तत्काल मंजूरी देने का अनुरोध करने के लिए मैंने 9 जुलाई को राज्यपाल रमेश बैसजी से मुलाकात की थी। आज राज्यपाल द्वारा इसे सैद्धांतिक मंजूरी दे दी गई है. मैं उनका बहुत आभारी हूं. करीब 80,000 करोड़ का यह प्रोजेक्ट विदर्भ में सिंचाई की तस्वीर बदल देगा. मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के नेतृत्व में हमारी महयुति सरकार किसानों के साथ मजबूती से खड़ी है।"
विदर्भ के छह जिलों में पानी की समस्या होगी दूर
राज्यपाल से संवैधानिक मान्यता मिलने के बाद जल्द ही परियोजना का भूमिपूजन होने की संभावना है। इस परियोजना के पूरा होने के बाद विदर्भ के छह जिलों में सिंचाई और पीने के पानी की समस्या समाप्त हो जायेगी। यहीं नही मराठवाड़ा क्षेत्र के कई जिलों को भी इस परियोजना का सीधा लाभ होगा।

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