SC ने MVA के मंसूबों पर पानी फेरा, फडणवीस बोले- उद्धव को नैतिकता की बात करने का कोई अधिकार नहीं

मुंबई: सुप्रीम कोर्ट के निर्णय के बाद उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस (Devendra Fadnavis) ने महाविकास अघाड़ी (Mahavikas Aghadi) पर हमला बोला है। मुंबई में मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे (Eknath Shinde) की अध्यक्षता में आयोजित प्रेस वार्ता में कहा कि, “सर्वोच्च न्यायालय (Supreme Court) ने महा विकास अघाड़ी के मंसूबों पर पानी फेर दिया है। अदालत ने उनकी साजिश नाकाम हो गई है। सुप्रीम कोर्ट ने माना है कि महाराष्ट्र की मौजूदा सरकार पूरी तरह संवैधानिक है।”
उपमुख्यमंत्री ने कहा, “सुप्रीम कोर्ट ने स्पष्ट कहा है कि उद्धव ठाकरे को दोबारा मुख्यमंत्री नहीं बनाया जा सकता है। सदस्यता निरस्त किए जाने के संबंध में सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि स्पीकर के पास अधिकार है कि वे फैसला लें।" उन्होंने कहा, "स्पीकर को यह अधिकार दिया गया है कि 10वीं अनुसूचि को ध्यान में रखते हुए यह तय करेंगे कि राजनीतिक पार्टी कौनसी है और फिर सदस्यता निरस्त किए जाने पर फैसला होगा।”
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एनसीपी और कांग्रेस के समय कहां थी नैतिकता
फडणवीस ने इस दौरान पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे पर भी हमला बोला। उन्होंने कहा कि, “प्रेस वार्ता में उद्धव जी ने कहा की मैंने नैतिकता के आधार पर इस्तीफा दिया था। लेकिन यह नैतिकता उस समय कहां गई थी जब चुनाव भाजपा के साथ जीता और सरकार के लिए कांग्रेस-एनसीपी के साथ सरकार का गठन कर लिया। किस डिब्बे में उस नैतिकता को बंद कर दिया था? इसलिए नैतिकता की बात उन्हें नहीं करनी चाहिए।”
नैतिकता की बात करने का अधिकार नहीं
फडणवीस ने आगे कहा, “उन्होंने इस्तीफा नैतिकता के आधार पर नहीं बल्कि हार के डर से दिया था। उन्हें पता चल गया था कि, उनके लोग चले गए हैं और उनकी हार होने वाली है, इसलिए उन्होंने इस्तीफा दिया।”
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