Nagpur Violence: मुस्लिम समाज ने हिंसा की निंदा, प्रेसवार्ता कर आपसी सौहार्द्य का माहौल बनाये रखने का किया आवाहन
नागपुर: नागपुर में हुई हिंसा को लेकर मुस्लिम समाज से प्रतिष्ठित लोग सामने आये और उन्होंने हिंसा की इस घटना की निंदा की. समाज की और से बाकायदा एक प्रेस कॉन्फ्रेंस आयोजित की गयी। प्रेस कॉन्फ्रेंस में ये दावा किया गया की जो घटना हुई है उसे असामाजिक तत्वों द्वारा अंजाम दिया गया, समाज इस तरह की घटना का समर्थन नहीं करता है और नागपुर शहर के आपसी सौहार्द्य के माहौल को बनाये रखने की अपील करता है।
इस प्रेस कॉन्फ्रेंस में मुस्लिम समाज से जुड़े प्रतिष्ठित नागरिक, व्यापारी, पेशेवर लोग और राजनेता मौजूद थे। राज्य के पूर्व मंत्री और वरिष्ठ कोंग्रेसी नेता अनीस अहमद के मुताबिक ये घटना के सरकार का फेलियर है।
अहमद ने ये भी कहा की राज्य में औरंगजेब का जो मुद्दा बनाया जा रहा है असल में वो मुद्दा है ही नहीं। जिन लोगो ने औरंगजेब के समर्थन में नारे लगाए है उनका मुस्लिम समाज का स्कॉलर वर्ग समर्थन भी नहीं करता लेकिन हिंसा के बाद जो कार्रवाई हो रही है उसमे निर्दोष लोगो को गिरफ्तार किया जा रहा है।
इसी प्रेस कॉन्फ्रेंस में मौजूद वकील आसिफ कुरैशी ने हिंसा की घटना के बाद जो कार्रवाई हो रही और गिरफ्तारियां की जा रही उसे गलत करार दिया है. इस कॉन्फ्रेंस में ये दावा किया गया की नागपुर में हिंसा की जो घटना हुई है उसे असामाजिक तत्वों द्वारा अंजाम दिया गया। और घटना में महिला पुलिस कर्मियों के साथ अभद्रता और डीसीपी पर धारदार हथियार से हमले की बात को भी ख़ारिज किया है।
दावा ये भी किया गया की औरंगजेब को लेकर हुए प्रदर्शन में चादर को जलाया गया था। इस घटना की वजह से नागपुर के आपसी सौहार्द्य को कोई आंच न आये ऐसी अपील भी मुस्लिम समाज की ओर से की गयी है। इसके साथ ही सरकार से पीस कमेटी गठित किये जाने की भी मांग की गयी।
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