Chadrapur: फिर मिला बाघ का शव, आठ दिन में तीन की मौत; वनविभाग में मची खलबली

चंद्रपुर: जिले में बाघों के शव बरामद होने का सिलसिला लगातार जारी है। बल्लारपुर वनपरिक्षेत्र में बाघीन से बिछडने से उसके तीन शावकों की भूकमरी से मौत होने की घटना ताजा होते ही मंगलवार की सुबह मूल व पोंभूर्णा तहसील अंतर्गत आनेवाले मौजा फिस्कुटी गांव के खेत सर्वे क्रमांक 288 में ढाई वर्ष का बाघ मृतावस्था में पाया गया। भूख से बाघ की मौत होने का अंदेशा जताया जा रहा है। बाघ का शव मिलने की खबर से वनविभाग में खलबली मच गयी है।
पोंभूर्णा व मूल तहसील के बार्डर पर मौजूद फिस्कुट गांव के पपलु वामन शेंडे यह चंद्रपुर निवासी जगदिश गावतुरे के खेती ठेके से कर रहे थे। मंगलवार की सुबह 7। 30 बजे के दौरान महीला मजदूर खेती में काम करने के लिए खेत में गए तभी उन्हे एक बाघ मृतावस्था में मिला। इसकी जानकारी खेती मालिका को देने पर खेतमालिक ने फिस्कुटी के सरपंच नितीन गुरनूले के माध्यम से जानकारी पोंभूर्णा वनपरिक्षेत्र अधिकारी को दी।
जानकारी मिलते ही चंद्रपुर मध्य चांदा वनविभाग उपवनसंरक्षक श्वेता बोड्डु, सहायक वनसंरक्षक शेख तोसीफ, पोंभूर्णा वनपरिक्षेत्र अधिकारी फणिंद्र गादेवार, एनटीसीए प्रतिनिधि बंडु धोतरे सहित वनविभाग के अधिकारी मौके पर पहुंचे। शव का पंचनामा किया गया। मुआयने के दोरान वह दो से ढाई वर्ष का बाघ होने की बात सामने आयी। बाघ के नाखुन, मुछे, दात आदि सभी अवयव शाबुत थे। मृत बाघ को ट्राझीट ट्रीटमेंट सेंटर पोस्टमार्टम हेतु भेजा गया। पोस्टमार्टम पश्चात अंतिम संस्कार किया गया। बाघ की मृत्यु पोस्टमार्टम रिपोर्ट के पश्चात ही पुष्टी होगी।
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