चंद्रपुर जिले के ताडोबा व्याघ्र प्रकल्प में वर्चस्व की लड़ाई में एक बाघ की मौत, दूसरा जख्मी

चंद्रपुर: चंद्रपुर जिले के ताडोबा व्याघ्र प्रकल्प के बफर जोन में २ बाघों के बीच हुई लड़ाई में एक बाघ की मौत हो गई जबकि दूसरा भी गंभीर रूप से जख्मी है। खडसंगी वन क्षेत्र के अंतर्गत वाहनगांव में दो बाघों के बीच हुई वर्चस्व को लेकर हुई लड़ाई में बजरंग नाम के बाघ की मौत हुई है। इस घटना के बाद दूसरे जख्मी बाघ का वन विभाग की टीम द्वारा विशेष ख्याल रखा जा रहा है।
मृत बाघ बजरंग का ताडोबा के जंगल में बाघों की संख्या बढ़ाने में बड़ा योगदान रहा है उसके २५ से अधिक बच्चे है। चंद्रपुर जिले के ताडोबा बफर जोन के खडसंगी वन परिक्षेत्र अंतर्गत वाहानगांव के सुभाष दोडके के खेत में किसानों को बाघों की आवाज सुनाई दी. बाघों के जोर - जोर से गुर्राने की आवाज सुन आस - पास के किसान घटनास्थल पर पहुंचे तो उन्हें एक बाघ गंभीर रूप से घायल और दूसरा बाघ मृत अवस्था में दिखा।
तत्काल इसकी सूचना वन विभाग को दी. वन विभाग के अधिकारी और कर्मचारी मौके पर पहुंचे। मृत पाए गए बाघ का नाम बजरंग है और इसकी उम्र सात वर्ष की थी। जबकि गंभीर घायल बाघ का नाम सीएम है। ये दोनों बाघ में अपने क्षेत्र पर प्रभुत्व स्थापित करने के लिए लड़ाई हुई थी, लेकिन लड़ाई इतना भयनकर हुआ की बजरंग की मौत हो गई जबकि सीएम गंभीर रूप से घायल हो गए। बताया जा रहा है की ताडोबा और आस पास के जंगल में बाघों की संख्या बढ़ाने में बजरंग का बहुत बड़ा योगदान है. ताडोबा वन क्षेत्र में बजरंग के 25 से ज्यादा बच्चे है, और वो अपनी ताकत के बदौलत उसने अपना साम्राज्य स्थापित कर लिया था। लेकिन सीएम के साथ लड़ाई में वो कमजोर पद गया और गंभीर जख्मी होने से उसकी मौत हो गई।
इस घटना के बाद वन विभाग की टीम मृत बाघ का पोस्टमार्टम के बाद अंतिम संस्कार करने वाली है, जबकि जख्मी बाघ का इलाज कराया जा रहा है।
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